गुरुवार, 1 सितंबर 2022

अरविंद केजरीवाल की जीवनी और अनमोल विचार

     अरविंद केजरीवाल भारतीय राजनीति में एक लोकप्रिय राजनेता और लोकप्रिय सामाजिक कार्यकर्ता हैं। उनका जन्म हरियाणा के एक सुदूरवर्ती गाँव में हुआ था। बचपन से एक उज्ज्वल छात्र के रूप में, अरविंद ने पहले प्रयास में ही परीक्षा उत्तीर्ण की और पश्चिम बंगाल में आईआईटी खड़गपुर में दाखिला लिया और उन्होंने मैकेनिकल इंजीनियरिंग को चुना। अपनी डिग्री पूरी करने के बाद, उन्होंने टाटा स्टील में नौकरी हासिल की, लेकिन जल्दी ही दिल की मानते हुए उन्होंने सिविल सर्विस की तैयारी के लिए उन्होंने नौकरी छोड़ दी। उन्हें दो महीने तक मदर टेरेसा के साथ उनके कालीघाट आश्रम में काम करने का अवसर मिला। उन्होंने 1993 में सिविल सेवा परीक्षा पास की और भारतीय राजस्व सेवा में शामिल हो गए।

अरविंद केजरीवाल की शिक्षा

        इनकी शुरुआती पढ़ाई कैंपस स्कूल, हिसार और क्रिश्चियन मिशनरी होली चाइल्ड स्कूल से हुई। पढ़ाई में होनहार होने के कारण 1985 में इन्होनें आईआईटी (IIT) का इग्जाम दिया जिसमें वह सफल भी हुए। आईआईटी में इन्होनें ऑल इंडिया में 563वां रैंक प्राप्त किया जिसके बाद इनको सफलतापूर्वक आईआईटी खड़गपुर में मैकेनिकल इंजीनियरिंग में दाखिला मिला। 4 साल की इंजीनियरिंग को पूरा करने के बाद अरविंद केजरीवाल ने अपनी पहली नौकरी टाटा स्टील जमशेदपुर, बिहार में की। इसके बाद सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी करने के लिए अरविंद ने इस नौकरी को छोड़ा। इस परीक्षा में सफल होने के बाद 1993 में भारतीय राजस्व सेवा (आईआरएस) में शामिल हो गए।

 राजनीति में पदार्पण

        २ अक्टूबर २०१२ को अरविंद केजरीवाल ने अपने राजनीतिक सफर की औपचारिक शुरुआत कर दी। उन्होंने बाकायदा गांधी टोपी, जो अब "अण्णा टोपी" भी कहलाने लगी है, पहनी थी। उन्होंने टोपी पर लिखवाया, "मैं आम आदमी हूं।" उन्होंने २ अक्टूबर २०१२ को ही अपने भावी राजनीतिक दल का दृष्टिकोण पत्र भी जारी किया।

        राजनीतिक दल बनाने की विधिवत घोषणा के साथ उन्होंने कांग्रेस नेता सोनिया गाँधी जो नेहरू परिवार की उत्तराधिकारी और संप्रग की मुखिया हैं, के दामाद रॉबर्ट वाड्रा और भूमि-भवन विकासकर्ता कम्पनी डीएलएफ के बीच हुए तथाकथित भ्रष्टाचार का खुलासा किया और बाद में केन्द्रीय विधि मंत्री सलमान खुर्शीद और उनकी पत्नी लुई खुर्शीद के ट्रस्ट के खिलाफ आन्दोलन भी छेड़ा।


आम आदमी पार्टी “आप” की स्थापना (Aam Aadmi Indian Political Party (AAP))

        अरविंद  केजरीवाल अफसरी करते हुए  सरकारी तंत्र में गहरे बैठे भ्रष्टाचार को अच्छे से समझ गये थे. उन्हें ये बात भी समझ में आ गयी थी, कि इस तंत्र में अफसरी करते हुए भ्रष्टाचार को काबू में नहीं किया जा सकता है. इन्होंने सामाजिक मुद्दों पर ध्यान देते हुए वर्ष 2006 में आयकर विभाग के ‘जॉइंट कमिश्नर’ पद से इस्तीफा दे दिया. इस इस्तीफे के बाद वे लगातार सामाजिक मुद्दों से जुड़े रहे और समाधान के रास्ते ढूंढते रहे. इन्होंने अन्ना के आंदोलन में भाग लिया, जहाँ उन्हें पार्टी बनाने की आवश्यकता महसूस हुई. नवम्बर 2012 में इन्होंने आम आदमी पार्टी की नींव रखी.

 

 अरविंद केजरीवाल के अनमोल विचार

 

 1.हमे कभी अहंकार नहीं करना चाहिए.
 

 2.मैं हमेशा से ही अन्ना से कहा करता था कि अगर हमे इस पुरे सिस्टम को साफ़-सुथरा बनाना है, तो हमे इस राजनीति के दल-दल में उतरना ही होगा.
 

3.अगर हम साथ आजाए, तो कुछ असंभव सा नही लगता.
 

4.अगर हम ईमानदारी की राह पर आगे बढ़ते है, तो अंत में जीत हमारी ही होगी.
 

5.जब आप सच्चाई के रास्ते पर चलते है, तो ब्रह्माण्ड की सभी शक्तिया आपकी मदद जरुर करती हैं.
 

 6.दिल्ली की जनता ने भारत की राजनीति से भ्रष्टाचार को पूरी तरह उखाड़ फेंकने की हिम्मत दिखाई है. अब इस विषय में प्रश्न यह है कि इस भ्रष्टाचार को खत्म करने की लड़ाई में कौन-कौन सदस्य इसका हिस्सा बनना चाहता है.
 

7.हम यहाँ किसी बैंक या पॉवर-पॉलिटिक्स को वोट के लिए नहीं है. हम यहाँ इस देश की राजनीति बदलने के लिए हैं.
 आखिर आम आदमी कौन है? “आप” मानती है कि मध्यम वर्ग आम आदमी का हिस्सा है, जो कोई भी इस भ्रष्ट तंत्र से थक चूका है, वही आम आदमी हैं
 

8.मैं कभी ये नही कहता कि सभी दफ्तर में काम करने वाले भ्रष्ट है, लेकिन मैं यह कहने में कभी हीच-किच्चाऊंगा नही कि ज्यादातर अधिकारी ईमानदार हैं.
 

9.हम हमारी सारी उम्मीद खो चुके थे, यह सोचकर कि राजनीति पूरी गुंडागर्दी और भ्रष्टाचार से पूरीत हैं. लेकिन दिल्ली लोकसभा चुनाव के बाद लोगो ने साबित कर दिया कि राजनीति ईमानदारी से भी की जा सकती हैं. और चुनाव ईमानदारी से भी लड़े जा सकते हैं.
 

10. हम लोग यहाँ किसी की सत्ता हथियाने बिलकुल नहीं आये है, बल्कि शासन को वापिस जनता के ही हाथो सोंपने आये है. अब दिल्ली के 1.5 करोड़ लोग सरकार चलाएंगे.
 

11.ये सिर्फ केजरीवाल नहीं है जिसने आज शपथ ली है, बल्कि यह एक आम आदमी है. और यह एक आदमी की जीत है.
 

12.सच्चाई की राह आसान नही है, बल्कि काँटों से भरी पड़ी है. लेकिन हमे हर आने वाली मुसीबत का सामना करना होगा.
 

13.हम बड़ी पार्टियों का गुरुर तोड़ने के लिए पैदा हुए थे. और अब हमे इस बात का ध्यान रखना पड़ेगा कि हमे गिराने के लिए किसी और पार्टी को जन्म लेने की जरूरत न पड़े.
 

14.हमारे भारत देश में एक अजीब तरह की वि.आई.पि. पॉवर फैली हुई है. वे हर एक मंत्री के लिए ट्रैफिक रोक देते है. लेकिन मैं पिछले कई दिनों से गाडी चला रहा हूँ. और मैं हर एक लाल-बत्ती पर रुकता हूँ. क्योंकि मुझे नहीं लगता मेरा समय इससे बर्बाद हो रहा है.
 

15.इस देश में रैप के किसी भी मामले में, किसी भी दोषी को तीन से छ: महीनो के अन्दर कड़ी से कड़ी सजा मिलनी चाहिए.

16.मैं बस पढ़ रहा था, और देखा कि दिल्ली में ठण्ड के मारे दो लोगो की मौत हो गई. आज़ादी के बाद करोडो खर्च किये जा चुके है, और शायद इससे बचा जा सकता था अगर पैसे सही से खर्च किये गए होते. और अगर पैसा खर्च हुआ तो कहाँ गया सारा
 
17.हम आज जो भी कर रहे है, वो हम किसी दल के खिलाफ नही कर रहे. हम यहाँ हमारी राजनीति करने भी नहीं, नाहि किसी सरकार को बचाने के लिए खड़े है. बल्कि हम तो यहाँ केवल स्वराज चाहते हैं, और दिल्ली में लोगों का शासन चाहते हैं.

18.हम बड़ी पार्टीयों का गुरूर तोड़ने के लिए पैदा हुए थे  हमें सावधान रहना होगा कि  हमे गिराने के लिए किसी और पार्टी को जन्म ना लेना पड़े 

कृपया इन Motivational Quotes in Hindi को आप बहुत ध्यान से पढ़िए और सफलता की ओर एक और कदम बढ़ा दीजिये - हमें आशा है कि आपको यह article बहुत  पसंद आया होगा अरविंद केजरीवाल  की जीवनी और अनमोल विचार कैसा लगा कमेंट में जरुर बताये और इस शेयर भी जरुर करे.

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